पहला सेक्स माँ के साथ

मां बेटा सेक्स कहानी में मैं और मेरी मम्मी मामा के घर में रहते हैं. एक रात मैंने मम्मी को मामा के साथ सेक्स करती देखा. तो मैंने भी मम्मी की चूत का मजा लेने की सोची.

हाय दोस्तो, मेरा नाम राजू है (नाम बदला हुआ)!

मैं ITI में पढ़ता हूँ। मेरी हाइट 5 फीट 9 इंच है और मेरे लंड का आकार 7 इंच है।
ये और भी बढ़ेगा क्योंकि मैं अभी सिर्फ 19 साल का हूँ!

मेरी मम्मी का नाम सुमन है और उनकी उम्र 37 साल है।
उनका फिगर देखकर हर कोई फिदा हो जाए!
मम्मी का फिगर है 32-30-34, गोल-गोल बूब्स और चौड़ी गांड की मालकिन हैं वो!

मम्मी और पापा की लड़ाई हो गई थी।
वो 10 साल से साथ नहीं रहते।
जब मैं 9 साल का था, तब से हम मामा के पास रहते हैं।

मामा का नाम शुभम है और वो ठेकेदार हैं।
उनकी दुकान भी है।
वो दुकान पर 11 घंटे बिताते हैं।

जैसे-जैसे मैं बड़ा हुआ, मैंने माँ-बेटे की सेक्स वाली कहानियाँ पढ़ना शुरू किया।
तब मुझे कुछ फैक्ट्स पता चले कि कोई भी लड़की या औरत बिना सेक्स के नहीं रह सकती।
मैंने सोचा कि मम्मी बिना सेक्स के कैसे रहती हैं?

मैं आपको बता दूँ, हम लोग किराए के मकान में रहते हैं इसलिए एक ही रूम में रहना पड़ता है।

कम पैसे में किराए पर दो रूम कहीं नहीं मिले।
हमारे पास एक बेड है, जिस पर मामा सोते हैं। मैं और मम्मी नीचे सोते हैं।

लेकिन एक रात जब मेरी नींद खुली तो देखा कि मम्मी मेरे पास नहीं थीं।

मैंने बेड की तरफ देखा तो चौंक गया!
मम्मी घोड़ी बनी हुई थीं, उनकी आँखें बंद थीं और मुझे उनके बूब्स दिख रहे थे।

वे हिल रही थीं, जैसे कोई उन्हें घोड़ी बनाकर चोद रहा हो!

मैंने धीरे से देखा तो मेरे मामा भी बिल्कुल नंगे थे।
वे मम्मी के पीछे थे और उन्हें चोद रहे थे।

थोड़ी देर बाद उन्होंने पोजीशन बदली।
अब मम्मी मामा का लंड चूस रही थीं।

मैंने पहली बार मामा का लंड देखा।
करीब 6 इंच का था।
मम्मी उसे चूस रही थीं।

फिर मामा ने उनकी चुदाई की और सो गए।

सुबह हुई तो मम्मी ड्यूटी जाने लगीं।
वो 7 से 3 बजे तक ड्यूटी जाती हैं।
मैं भी 9 से 3 बजे तक इंस्टीट्यूट जाता हूँ।

मामा सुबह 9 से रात 10 बजे तक दुकान पर रहते हैं।
तब तक मैं सो जाता हूँ।
लेकिन मम्मी सिर्फ सोने का नाटक करती हैं।

उस दिन मैं भी नहीं सोया।
मैंने फिर से उनकी चुदाई देखी पूरी रात!

अब मैंने सोच लिया था कि मैं भी मम्मी को चोदूँगा।
लेकिन कैसे?

अगला दिन संडे था।
मैं और मम्मी दोनों घर पर थे।

मामा 9 बजे तक निकल गए। मामा 2 बजे लंच करने घर आते हैं।

तब तक हमने सारा घर का काम कर लिया।
मामा आए, लंच किया और चले गए।

फिर मैंने मम्मी से पूछा, “मम्मी, आप और मामा रात को क्या कर रहे थे?”

मम्मी बोलीं, “क्या कर रहे थे? क्या मतलब? मैं तो तेरे साथ थी ना!”
मैंने कहा, “नहीं, आप मेरे साथ नहीं थीं! मैंने आप दोनों को सेक्स करते देख लिया है!”

मम्मी बोलीं, “बेटा, तू किसी को बताना मत! वरना हमारी बहुत बेइज्जती होगी कि भाई-बहन होकर ये लोग सेक्स करते हैं!”
मैंने कहा, “ठीक है, मैं नहीं बोलूँगा! लेकिन मुझे जो चाहिए, वो मिलेगा ना?”

मम्मी बोलीं, “ठीक है, तुझे कम्प्यूटर चाहिए ना? वो भी मिल जाएगा!”

जब से मैंने ITI शुरू की, मुझे कम्प्यूटर चाहिए था।
लेकिन अब मुझे कुछ और चाहिए था।

मैंने कहा, “मुझे कम्प्यूटर नहीं चाहिए!”
मम्मी बोलीं, “फिर क्या चाहिए तुझे?”
मैंने कहा, “मुझे आपके साथ सेक्स करना है!”

मम्मी ने मुझे एक चांटा मारा और बोलीं, “तू पागल हो गया है! ये सब पाप है! मैं तेरी माँ हूँ!”

मैंने कहा, “भाई और बहन का सेक्स भी तो पाप है ना? और आप वो रोज़ करते हो! तो मेरे साथ करने में क्या है?”

मैंने धीरे से अपना शॉर्ट्स और अंडरवियर नीचे किया।
मेरा 7 इंच का लंड खड़ा हो गया।

मम्मी की निगाहें मेरे लंड से हट ही नहीं रही थीं।
वो बोलीं, “बेटा, ये सब पाप है!”

लेकिन मैं समझ गया था कि मम्मी अब गरम हो रही हैं।

मैंने कहा, “मामा के लंड से ज्यादा बड़ा और मोटा है! आपको मज़ा ही आ जाएगा! और मैं ये बात किसी से बोलूँगा भी नहीं!”
मम्मी बोलीं, “पक्का? प्रॉमिस?”
मैंने कहा, “हाँ, पक्का प्रॉमिस!”

फिर तो क्या था! Maa Beta Sex Kahani शुरू हो गयी.

मम्मी ने जैसे ही हाँ कहा, मैंने उनका कुर्ता उतार दिया।
उन्होंने भी अपनी सलवार उतार दी।
अब मम्मी मेरे सामने सिर्फ ब्रा और पैंटी में थीं।

यार! क्या मस्त लग रही थीं! ब्लैक कलर की ब्रा और पैंटी में!
वो गोरी तो थीं ही!

अब हम किस करने लगे।
करीब 10 मिनट बाद मुझसे रहा नहीं गया।

मैंने मम्मी की ब्रा निकाल दी और उनके बूब्स चूसने लगा।

क्या मस्त बूब्स थे! मुझे बड़ा मज़ा आ रहा था।

मम्मी के मुँह से “आह… अह…” की आवाज़ें निकल रही थीं।

मैंने एक हाथ मम्मी की पैंटी के अंदर डाल दिया, उनकी चूत सहलाने लगा।

एक हाथ से बूब्स दबा रहा था और मुँह से काट भी रहा था।
मम्मी बोलीं, “आराम से! मैं कहीं भागी नहीं जा रही हूँ!”

अब मैंने भी अपने सारे कपड़े उतार दिए।
मेरा लंड मम्मी की तरफ किया।

मम्मी भी किसी रंडी की तरह मेरा लंड चूस रही थीं।

मैंने कभी सेक्स नहीं किया था।
जब उन्होंने मेरा लंड चूसा, तो मज़ा आ गया।
मानो मैं सातवें आसमान पर था!

मेरे लंड से पानी निकल गया।

मम्मी ने सारा पानी पी लिया और बोलीं, “तेरा स्वाद बड़ा ही अच्छा है! मैंने आज तक ऐसा स्वाद नहीं लिया!”

अब मम्मी फिर से मेरा लंड खड़ा कर रही थीं।

तब मैंने पूछा, “आपने आज तक कितने लंड लिए हैं?”
मम्मी बोलीं, “बस तीन ही लिए हैं। तेरे पापा का, मामा का और तेरा। लेकिन सबसे बड़ा तेरा ही है! तेरे पापा का 5 इंच था, मामा का 6 इंच का, लेकिन तेरा 7 इंच का है!”

इतनी बातचीत में मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया।
अब मैंने मम्मी की चूत चूसना शुरू किया।

मम्मी को बड़ा मज़ा आ रहा था।
मम्मी बोलीं, “ये सब बाद में कर लेना! पहले मुझे चोद दे बस!”

मैंने अपना लंड निकाला, मम्मी की चूत पर सेट किया और धक्का दिया।
आधा लंड ही गया था कि मम्मी धीरे से “आह…” बोल दीं।

मैंने दूसरा धक्का दिया और पूरा लंड मम्मी की चूत में समा गया।
मम्मी चिल्ला दीं, “आह्ह्ह… चूत फाड़ देगा क्या मेरी?”

लेकिन मैं कहाँ रुकने वाला था … मैंने चोदना शुरू किया।

अब मम्मी को भी मज़ा आने लगा था।
मम्मी बोलीं, “आह्ह्ह… अह… बहुत मज़ा आ रहा है! चोद बेटे, चोद! और ज़ोर से! आह्ह्ह… अह…”

मैं भी ज़ोर-ज़ोर से चोद रहा था।
सचमुच, मम्मी को चोदने में बड़ा मज़ा आ रहा था।

अब मेरा वीर्य निकलने वाला था।
मैंने कहा, “मम्मी, कहाँ निकालूँ रस?”

मम्मी बोलीं, “चूत में ही निकाल दे! तेरे मामा कभी नहीं निकालते। 10 साल से वीर्य का अनुभव नहीं किया!”

मैंने वैसा ही किया।
उनके बगल में लेट गया और बूब्स के साथ खेलने लगा।

तभी मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया।

मेरा मन अब मम्मी की गांड मारने का हुआ।
मैंने मम्मी को उल्टा किया और बोला, “मम्मी, आप घोड़ी बन जाओ! मैं आपकी गांड मारनी है!”

मम्मी बोलीं, “मैंने आज तक किसी से भी गांड नहीं मरवाई! तेरा लंड बहुत बड़ा है। मेरी गांड फाड़ देगा!”

मैंने कहा, “मम्मी, थोड़ा सा दुखेगा, फिर बहुत मज़ा आएगा! देखना!”

मम्मी को जैसे-तैसे मना ही लिया।
वो घोड़ी बन गईं।

मैंने अपने लंड पर तेल लगाया और मम्मी की गांड पर भी।
एक झटके में पूरा लंड गांड में चला गया।

मम्मी चिल्लाईं, “फाड़ दिया रे मादरचोद! निकाल तेरे लंड को अभी!”

लेकिन मैं कहाँ सुनने वाला था! मैं मम्मी की गांड मारता रहा।
अब मम्मी को भी मज़ा आने लगा था।

मम्मी बोलीं, “उम्म्म… आह्ह्ह… और तेज़! और तेज़ बेटा! मज़ा आ रहा है अब!”

मैंने कहा, “मैंने कहा था ना मम्मी, मज़ा आ जाएगा! आपको ज़्यादा मज़ा इसलिए आया क्योंकि आपने कभी गांड नहीं मरवाई!”
मम्मी बोलीं, “बातें बाद में करना! पहले गांड मार!”

मैं बिना रुके गांड मारता गया।
20 मिनट बाद मैंने अपना वीर्य मम्मी के बूब्स पर निकाल दिया।
मां बेटा सेक्स के बाद मैं और मम्मी नहाने चले गए।

नहाते समय देखा कि 6 बज चुके थे।
मम्मी खाना बनाने चली गईं।

हम खाना खाकर सो गए।
मामा रात को आए।
फिर रात में भी मैंने उनकी चुदाई देखी और सो गया।

मैं और मम्मी दोनों खुश थे।
हम दिन में 4 से 6 बजे तक सेक्स करते।

मम्मी मामा के साथ रात में करतीं।
ऐसे ही हमारी लाइफ चल रही है।

आपको यह मां बेटा सेक्स कहानी कैसी लगी?
कमेंट्स करके ज़रूर बताएँ!

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