रात भर लिया खालू के लंड का मज़ा

पोर्न फॅमिली सेक्स कहानी पर्दानशीं परिवार की लड़की की है. उस परिवार में खुलेआम चुदाई का रिवाज है. वो जवान लड़की सुहागरात के बाद मायके आई तो अपने खालू से चुदी.

लेखिका की पिछली कहानी थी: मैं बुर चोदी लंड के लिए बन गई कॉल गर्ल

आज की कहानी मेरी सहेली रजिया की है जो मेरी कहानियाँ पढ़ कर मेरी दोस्त बनी है.
उसी ने यह Porn Family Sex Kahani मुझसे लिखवाई है. उसी के शब्दों में यह कहानी पेश है.

मेरा नाम रजिया है दोस्तो … लेकिन लोग मुझे रज्जो के नाम से जानते हैं।
मैं खूबसूरत होने के साथ साथ बड़ी खुश मिज़ाज़ और रोमांटिक मूड की बीवी हूँ।

जी हां मेरी शादी अभी 6 महीने पहले ही हुई है।

मैं शादी के बाद अपनी ससुराल गयी, अपनी सुहागरात मनाई और खूब अच्छी तरह चुद चुदा कर अभी दो दिन पहले ही अपने मायके आई हूँ।

यहाँ सबसे पहले मैं अपनी आयशा अम्मीजान से मिली।
वह मेरा हँसता हुआ मुस्काराता हुआ चेहरा देख कर बोली- हाय मेरी बेटी रज्जो, लगता है कि तू खूब अच्छी तरह एन्जॉय करके आई है। मुझे सिर्फ इतना बता दे कि तेरे शौहर का लंड तेरे मन का है या नहीं?
मैंने कहा- हां बिल्कुल मेरे मन का है अम्मी जान मेरे शौहर का लंड! मगर एक बात है, मेरे शौहर के लंड की चाहने वाली वहां कई हैं।

अम्मी फटाक से बोली- उससे क्या होता है बेटी! तेरी चूत के भी चाहने वाले कई होगें सब धीरे धीरे तेरे पास आयेंगे। फिर तुम भी उनके लंड का मज़ा लेना जैसे तेरा शौहर कई चूत का मज़ा लेता है।
मैंने हंस कर कहा- वो तो मैं लूंगी ही!

अम्मी फिर मेरे गाल थपथपाकर बोली- मैं भी तेरे शौहर के लंड का मज़ा लूंगी रज्जो रानी।
इस बात पर हम दोनों गले मिलकर खूब हंसी।

अगले दिन मेरी खाला की बेटी बबली आ गयी।
उसे देखते ही मैंने कहा- ओय होय, तू भी आ गयी बुर चोदी बबली?

वह मेरे बग़ल में आकर बैठ गयी।
उसकी भी शादी अभी हाल में ही हुई है। वह भी अपनी सुहागरात मना कर आई है।

हम दोनों बातें कर ही रहीं थीं कि इतने में मेरी फूफीजान की बेटी तन्नो भी आ गयी।

उसे देख कर मेरे मुंह से निकला- तू भोसड़ी की बहुत जम रही है यार! तेरे बूब्स तो बड़े बड़े हो गये हैं बहनचोद? लगता है खूब चुद कर आई है तू?
वह बोली- अरे यार, मैं तो चुदने ही गई थी ससुराल! और एक से नहीं कई लोगों से चुद कर आई हूँ।

उसकी शादी मेरी शादी के एक महीने पहले ही हुई थी मगर वह आज शादी के बाद पहली बार आई है।
वह भी हमारे साथ बातचीत में शामिल हो गयी।

अब हम तीनों खूब मस्ती से बतियाने लगीं और खुल कर बातें करने लगीं।
घर में और चौथा कोई नहीं था। मेरी अम्मी जान अपने मायके गयी थीं।

अब हमारी बातें और मसालेदार होने लगीं।

मैंने पूछा- अच्छा तन्नो, तू ये बता कि तेरे मरद का लंड कैसा है और तू कितने लोगों से चुद कर आई है?

वह बोली- लंड तो यार बढ़िया है मेरे मरद का! मगर हां थोड़ा और मोटा होता तो और अच्छा होता जैसा मेरे ननदोई का लंड है. मेरी सुहागरात के दो दिन बाद मेरी उससे मुलकात हुई. एक ही नज़र में मैं उसे दिल दे बैठी। बड़ा हैंडसम है वह! स्मार्ट है और मजाकिया किस्म का लड़का है. मेरे कान में बोला ‘भाभी जान मेरा लंड अंदर से तुम्हें सलाम कर रहा है।’ मैंने भी उसके कान में ही जवाब दिया ‘क्या तेरा लंड डरता है मुझसे? बाहर निकल कर सलाम क्यों नहीं करता मादरचोद? वह मुस्कराता हुआ चला गया और मैं भी अपने काम में लग गयी।

तन्नो ने आगे बताया- रात को उसे मौक़ा मिला तो वह मेरे बिस्तर पर आ गया। सब लोग सो रहे थे और केवल हम दोनों ही जाग रहे थे। फिर मैंने उसका लंड पकड़ लिया और उसने मेरी चूचियाँ दबाना शुरू कर दिया। मैं भी नंगी हो गयी और वह भी नंगा। मेरे हाथ में जब उसका लंड आया तो मज़ा आ गया। मेरे मरद के लंड से मोटा है उसका लंड और फिर उससे चुदवाने में भी ज्यादा मज़ा आया। मैं उससे रात में दो बार चुदी।

मैंने कहा- यार, तेरी तो कहानी बड़ी मजेदार है। अब तू बता बुरचोदी बबली तूने क्या क्या गुल खिलाया अपनी ससुराल में? कैसा है तेरे मियां का लंड?

वह बोली- यार, लंड तो मस्त है मेरे मियां का! खड़ा होने पर थोड़ा टेढ़ा हो जाता है जिससे चुदवाने में मज़ा आता है। रगड़ कर घुसता है न चूत में! उसको बुर चोदने में ज्यादा इंटरेस्ट है और मुझे लंड चूसने और चाटने में ज्यादा इंटरेस्ट है. मैं अपने मन भर लंड चूस नहीं पाती हूँ। लंड से मन भर खेल नहीं पाती हूँ। फिर एक दिन मुझे अपने देवर का लंड पकड़ने का मौक़ा मिला। लंड तो बढ़िया था बड़ा मोटा भी था, पर उसे मुठ्ठ मरवाने का बड़ा शौक है। मैंने दो बार उसके लंड का मुठ मारी।

फिर बोली- यार एक बात बताऊँ रज्जो? मेरे कुनबे में सबसे बड़ा और मोटा लंड तो मेरे अब्बू जान का है। 9″ का लंड है मेरे अब्बू जान का! उसे लंड चटवाने और चुसवाने का जबरदस्त शौक है और बुर चोदने में तो वह अव्वल है। मेरी भाभीजान तो मेरे अब्बू के लंड की बड़ी दीवानी है। मेरा अब्बूजान भी अपनी बहू की बुर चोद चोद कर बड़ा मज़ा लेता है। मैं यह बात दावे से इसलिए कह रही हूँ कि मैं बहनचोद अपने अब्बू का लंड पकड़ कर देख चुकी हूँ। बड़ा मज़ा लिया है मैंने अब्बू के लंड का!

बस बबली की इस बात ने मेरी चूत में आग लगा दी।
मैं रात भर यही सोचती रही कि मैं बहनचोद कितनी बड़ी चूतिया निकली कि मैंने कभी अपने खालू जान का लौड़ा नहीं पकड़ा. बाकी कुनबे के सारे लंड पकड़ चुकी हूँ मैं! किसी ने मुझे इसके लंड के बारे में बताया भी नहीं। मैं इतने बढ़िया लंड का मज़ा अभी तक ले ही नहीं पाई हूँ। जबकि इसका लंड पकड़ना मेरे लिए बड़ा आसान था। ये तो अपनी बहू की बुर चोदता है अपनी बेटी की भी बुर लेता है। मेरी माँ के भोसड़ा में भी कई बार लंड पेला होगा इसने! किसी ने मुझे बताया तक नहीं। मेरी बुरचोदी अम्मीजान ने भी कभी नहीं बताया इसके लंड के बारे में … जबकि वह मुझसे पूरी तरह खुली हुई है। मुझसे लंड, बुर, चूत, भोसड़ा की बातें करती है। मेरे मियां के लंड के बारे में पूछ रही थी और खालू के लंड के बारे में कभी मुझसे बात तक नहीं की।

फिर क्या … मेरी तो झांटें सुलगने लगीं।
मैं सोचने लगी कि अब मिलने दो उसे … अम्मी की बहन का भोसड़ा! इतने मस्ताने लंड का मज़ा मैं आयशा अम्मी की वजह से नहीं ले पाई जबकि वह बुरचोदी मेरी दोस्त बनी हुई है।

अगले दिन मेरा मूड थोड़ा ख़राब जरूर रहा पर मैं यह सोचने लगी कि मैं खाला के घर जाऊं या फिर खालू को किसी बहाने अपने घर में बुला लूँ। आज तो मैं खालू का लंड पकड़ कर दी दम लूंगी।
अम्मी जान मुझे दिखाई तो पड़ी पर मैं कुछ बोली नहीं।

संयोग देखिये कि शाम को अचानक खालू आ गया।
उसने कुरता पजामा पहना हुआ था। न दाढ़ी और न मूँछ … एकदम गोरा चिट्टा बड़ा हैंडसम लग रहा था।
मैंने उसे दूर से देखा।

वह अम्मीजान से मिला और बोला- जान, आज तो तुम बहुत खूबसूरत लग रही हो!

अम्मीजान ने खुल्लम खुल्ला मजाक करते हुए कहा- मेरी तारीफ कर रहे तो तो क्या आज तुम लंड पेलोगे मेरी चूत में? मेरा भोसड़ा चोदोगे?
वह बोला- हां जान, चोदने का मन तो है।

अम्मी ने फिर मजाक किया- अच्छा पहले यह बताओ कि तुम आज किसकी चूत चोद कर आये हो?
खालू ने हँसते हए कहा- आज तो मैं अपने दोस्त की बेटी की बुर चोद कर आया हूँ भाभीजान। वह भी अपनी माँ की तरह खूब झमाझम चुदवाती है।

अम्मी ने कहा- यार, तेरे लंड का ये सब करिश्मा है। तेरा लंड इतना बढ़िया है कि कोई भी दौड़ कर अपनी बुर चुदवा लेगी और अपनी बहू बेटियां भी चुदवा लेगी।

यह सुनकर मेरी झांटें और सुलगने लगीं।
मैंने मन में कहा- अरी मेरी हरामजादी अम्मी जान, यही बात तूने मुझे क्यों नहीं बताई? तेरी बहन का लंड! मैं इसका बदला जरूर लूंगी।

अम्मी ने उसे बड़े अदब से बैठाया।
मैं अंदर गई और अपने कपड़े बदल लिये।
मैंने एक तंग लो वेस्ट वाला पाजामा पहना जो अगर एक इंच नीचे खसक जाए तो मेरी झांटें दिखने लगेंगी।
ऊपर मैंने सिर्फ एक ब्रा पहन ली जिससे मेरी बड़ी बड़ी चूचियाँ साफ़ दिख रही थीं।

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मैंने थोड़ा मेकअप किया और खालू के सामने आ गयी।
मैं भी अम्मी के साथ उसके खैरमकदम में बार बार आते जाते अपनी चूचियाँ और मटकती गांड का नज़ारा दिखाने लगी।

खालू ने कहा- क्या बात है रज्जो, आज तुम बहुत सेक्सी और हॉट दिख रही हो? शादी के बाद तुम और ही ज्यादा खूबसूरत और हॉट हो गई हो!
मैंने भी मटक कर कहा- अरे हटो खालू जान, तुमने मुझे कभी भाव ही नहीं दिया? कभी मेरी तरफ देखा तक नहीं? जवानी में कभी मुझे अपनी गोद में नहीं बैठाया।

वह मुस्काकर बोला- कहो तो मैं अभी तुम्हें अपनी गोद में बैठा लूं?
मैंने कहा- झूठ बोल रहे हो तुम खालू जान! अभी तक क्यों नहीं बैठाया जबकि तुम सबको बैठाते हो. यहाँ तक कि तुम अपनी बहू को भी गोद में बैठाते हो और अपनी बेटी को भी! मुझे सब मालूम है!

तब तक अम्मी जान आ गई।
वह भी मेरे ही लिबास में थी.
तो खालू बोला- हाय साली जान, तुम तो रज्जो की माँ नहीं, बड़ी बहन लग रही हो।

अम्मी यह सुनकर मस्त हो गईं, अम्मी ने कहा- यार अज़हर (खालू का नाम) मैं अपने भाई जान के घर जा रही हूँ। तुम्हारा ख्याल रखने के लिए रज्जो है न!
ऐसा कह कर अम्मी जान चली गयी।

अब घर में केवल मैं और मेरा खालू!
हम दोनों खूब बातें करते रहे।

मैंने कुछ रोमांटिक बातें भी कि तभी अचानक पानी बरसने लगा।
बरसात तेज होने लगी।

वह जब जाने के मूड में आया तो मैंने कहा- अब कहाँ जा पाओगे खालू जान? अब तो यही रुकना पड़ेगा!

मैंने खालू जान को पकड़ कर बैठा लिया। मैं उससे अपनी अदाएं दिखा दिखा कर बड़े प्यार से बातें करने लगी, अपनी चूचियों की झलक दिखाने लगी और बार बार उठ उठ कर उसे अपनी गांड का थिरकना भी दिखाने लगी।

मैं उसे रिझाने में जुटी हुई थी और उसके लंड में आग लगा रही थी।
आग तो सच में लग भी चुकी थी उसके लंड में क्योंकि यह मुझे उसके पाजामे के उभार से साफ़ साफ़ दिख रहा था।

इस माहौल में बरसात बुरचोदी आग में घी का काम कर रही थी।
मेरी भी उत्तेजना बढती जा रही थी।

रात का खाना वगैरह हुआ और फिर मैं और खालू दोनों बिस्तर पर लेट गए।
हम लोग सब जमीन पर ही एक साथ सोते हैं।

तब तक रात के 11 बज चुके थे।

खालू अपने आपको रोक नहीं पाया, उसने आखिर कार मेरी चुम्मियाँ ले ही लीं।
उसने मेरे गाल चूमें, मेरे होठ चूमें, मेरी गर्दन चूमी और बोला- रज्जो, तुम बहुत हॉट लग रही हो यार!

मैंने कहा- अच्छा तो मैं तेरी यार हूँ खालूजान?
वह बोला- हां बिल्कुल, आज रात के लिए तुम मेरी यार हो … तुम मेरी रानी हो … तुम मेरी प्रेमिका हो और तुम मेरी बीवी हो!

मैंने कहा- हाय दईया, तो तुम वह सब करोगे जो अपनी बीवी के साथ करते हो?
वह बोला- बेशक करूंगा।

मैंने कहा- मेरी अम्मी जान आ गई तो? कुछ तो शर्म करो?
वह बोला- मुझे तेरी अम्मी से कैसी शर्म? मैंने तो तेरी अम्मी को कई बार अपनी बीवी बनाकर चोदा है. तेरी माँ की चूत का चाहने वाला हूँ मैं! आज मैं तेरी चूत का मज़ा लूंगा रज्जो रानी!

मैंने कहा- अच्छा? तब तो तुम बहुत बड़े हरामजादे हो!

बस उसने मुझे अपने बदन से चिपका लिया और मेरे बूब्स मसलने लगा।
खालू ने मेरे तंग पाजामे में हाथ घुसेड़ दिया, मेरी चूत तक पहुँच गया उसका हाथ और उस पर अपनी उंगलियां फिराने लगा।
उसने मेरी ब्रा का हुक खोल दिया तो मेरे बूब्स उसके आगे नंगे हो गए।

वह बोला- वाह, बड़े मस्ताने बूब्स हैं तेरे रज्जो! इतने बढ़िया बूब्स आज मैं पहली बार देख रहा हूँ।

फिर उसने मेरा पजामा भी खोल डाला और मैं मादरचोद एकदम नंगी हो गयी।
तब मैंने भी उसका पजामा खोला, उसके ऊपर के कपड़े उतारे और उसे नंगा कर दिया।

फिर क्या … उसका टनटनाता हुआ लंड मेरे हाथ में आ गया।

मैं सोचने लगी कि जिस लंड के लिए मैं इतना परेशान थी, आज वही लंड मेरे हाथ में है।
मैंने कहा- क्या मस्त लौड़ा है खालू तेरा! कितना प्यारा और कितना मोटा तगड़ा लौड़ा है तेरा! मुझसे अभी तक इसे क्यों छुपा कर रखा?

मैंने लंड का सुपारा चूमा, लंड चारों तरफ घुमा घुमा कर देखा और सुपारे के चारों तरफ अपनी जबान घुमाई.
मुझे लंड की महक मदहोश कर रही थी।

झांटें एकदम साफ़ थीं तो लंड साला बड़ा हैंडसम लग रहा था।

जैसा मैंने सुना था उससे भी बढ़िया पाया खालू का लंड!

मैं उसकी टांगों के बीच बैठ गयी, अपने बालों का ऊपर जूड़ा बना लिया, लंड दोनों हथेलियों के बीच रख कर मथानी की तरह मथने लगी।
बीच बीच में मैं लंड की चुम्मी भी लेने लगी।

मैंने कहा- खालू भोसड़ी के, तुम बहुत नसीब वाले हो। खुदा ने तेरा लौड़ा बड़े इत्मीनान से बनाया है। जितना मोटा है तेरा बहनचोद लंड, उतना ही सख्त भी है। देखो न तेरा ये 9″ का लंड एकदम खम्भे की तरह खड़ा है मेरे आगे!

मैं लंड को हिला हिला कर मस्ती करने लगी।
फिर मैं घूम कर खालू के मुंह पर अपनी चूत रख कर बैठ गयी।
वह मेरी चूत चाटने लगा और मैं उसका लंड चाटने लगी।

मुझे खालू का लंड बड़ा मज़ा दे रहा था।
मेरी तमन्ना पूरी हो रही थी।

मुझे अब मालूम हो गया कि इसकी बेटी बहू इससे क्यों चुदवाती है. इसकी बेटी बबली इसका लंड क्यों इतना पसंद करती है. भला कौन भोसड़ी वाली लड़की ऐसे मस्ताने लंड से नहीं चुदवायेगी.

मुझे तो लंड का स्वाद बड़ा अच्छा लग रहा था।
लंड से निकलती हुई लार मैं बड़े मजे से चाट रही थी क्योंकि मुझे लंड की लार बड़ी टेस्टी लगती है।

मैं बहुत ज्यादा गर्म हो गयी थी.

अचानक मेरी निगाह मसाज आयल की शीशी पर पड़ी।
बस मैंने तेल अपनी हथेलियों में लिया और उसे लंड पर लगा कर लंड की मालिश करने लगी।
लंड एकदम चिकना हो गया।

वह बोला- अरे यार रज्जो, मुझे तो लंड की मालिश कराने में बड़ा अच्छा लग रहा है। पहली बार कोई मस्त जवान खूबसूरत लड़की मेरे लंड की मालिश कर रही है।

उसका लंड भी साला फूलता गया।

तब तक मैं बहुत गर्म हो चुकी थी।
मुझसे अब और रहा नहीं जा रहा था।

उछल कर मैं बैठ गयी उसके लंड पर … लंड पूरा गच्च से घुस गया मेरी चूत में और मैं थोड़ा झुक कर अपनी गांड उठा उठा के पटकने लगी लंड पर!
मैं लंड उसी तरह चोदने लगी जैसे कोई मरद किसी की बुर चोदता है।

खालू तो मेरी उछलती हुई चूचियाँ देख देख कर मज़ा भी ले रहा था और सिसकारियां भी!

कुछ देर बाद उसने मुझे नीचे लिटा दिया और मेरे ऊपर चढ़ बैठा, पेल दिया लंड मेरी चूत में और चोदना शुरू किया।
वो बोला- रज्जो, आज मैं तेरी बुर फाड़ डालूँगा। तू बहनचोद बहुत अच्छी तरह चुदवाती है। मैंने तेरी माँ का भोसड़ा फाड़ा है आज तेरी फुदी फाड़ूंगा।

मैं भी जब चुदवाने में मस्त हो जाती हूँ तो गालियां देने लगती हूँ।
पोर्न फॅमिली सेक्स की गालियां देते हुए चुदवाने में बड़ा मज़ा आता है।

मैंने कहा- भोसड़ी के खालू, तेरी बहन की बुर, तेरी बिटिया की चूत … आज मैं देखूंगी कि तेरे लंड में कितना दम है? तुझसे ज्यादा हरामजादा तेरा लौड़ा है बेटीचोद खालू? बड़ा कमीना है तू और तेरा लंड?

मैं वासना में बोलती रही- हाय रे … पूरा पेल दो लंड, चोद डालो मेरी बुरचोदी बुर, चीथड़े उड़ा दो मेरी चूत के खालू जान, वाओ क्या मस्त लौड़ा है तेरा? बड़ा मज़ा दे रहा है, उई माँ, तू भोसड़ी का पहले क्यों नहीं मिला मुझे? पहले क्यों नहीं चोदा मेरी बुर? मेरी माँ के आगे क्यों नहीं चोदा मुझे? तूने अपनी बहू बेटी चोदी तो मुझे क्यों नहीं चोदा?

वह बोला- जानती हो रज्जो, मेरी बहू मेरे दोस्त की बेटी है। मेरी बहू अपनी शादी के पहले मेरा लंड पीती थी। मेरा लंड अपनी माँ की चूत में पेलती थी। मुझे बड़ी अच्छी लगी तो मैंने उसकी शादी अपने बेटे से करवा दी। मेरा बेटा वहां दुबई में काम करता है और मैं यहाँ इसकी फुद्दी चोदता हूँ।

यह सुनकर मैं और उत्तेजित हो गयी।
वह भी जोश में आ गया और तब लंड ने उगल दिया सारा वीर्य मेरे मुंह में!

इस तरह उसने मुझे रात भर नंगी रखा और खूब हचक हचक कर चोदा।

अगले दिन मुझे बबली मिली तो मैंने कहा- सुन बुर चोदी बबली, मैंने कल रात भर तेरे अब्बू का लंड चोदा है.
वह बोली- अच्छा ऐसी बात है तो मैं भी किसी दिन तेरे अब्बू का लंड चोदूँगी रज्जो!

दोस्तो, ये थी मेरी सच्ची पोर्न फॅमिली सेक्स कहानी।
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